NCERT Class 10 Science (Physics) Model Question Paper 2025 with Answers
कक्षा 10वीं - भौतिक विज्ञान
मॉडल प्रश्न पत्र 2024-25
समय: 3 घंटे
पूर्णांक: 80
सामान्य निर्देश:
- इस प्रश्न पत्र में कुल 39 प्रश्न हैं जो पाँच खंडों में विभाजित हैं - क, ख, ग, घ और ङ।
- सभी प्रश्न अनिवार्य हैं।
- खंड क में प्रश्न संख्या 1 से 20 तक बहुविकल्पीय प्रश्न हैं जिनमें प्रत्येक 1 अंक का है।
- खंड ख में प्रश्न संख्या 21 से 26 तक अति लघु उत्तरीय प्रश्न हैं जिनमें प्रत्येक 2 अंक का है।
- खंड ग में प्रश्न संख्या 27 से 33 तक लघु उत्तरीय प्रश्न हैं जिनमें प्रत्येक 3 अंक का है।
- खंड घ में प्रश्न संख्या 34 से 36 तक दीर्घ उत्तरीय प्रश्न हैं जिनमें प्रत्येक 5 अंक का है।
- खंड ङ में प्रश्न संख्या 37 से 39 तक केस आधारित/स्रोत आधारित प्रश्न हैं जिनमें प्रत्येक 4 अंक का है।
- कुछ प्रश्नों में आंतरिक विकल्प दिए गए हैं।
1. विद्युत धारा का SI मात्रक क्या है?
(क) वोल्ट
(ख) एम्पियर
(ग) ओम
(घ) कूलॉम
उत्तर: (ख) एम्पियर
2. ओम का नियम किस सूत्र से व्यक्त होता है?
(क) V = IR
(ख) I = VR
(ग) R = VI
(घ) V = I/R
उत्तर: (क) V = IR
3. किसी चालक का प्रतिरोध निर्भर करता है:
(क) चालक की लंबाई पर
(ख) चालक के अनुप्रस्थ काट क्षेत्रफल पर
(ग) चालक के पदार्थ की प्रकृति पर
(घ) उपरोक्त सभी पर
उत्तर: (घ) उपरोक्त सभी पर
4. घरेलू विद्युत परिपथों में किस प्रकार का संयोजन होता है?
(क) श्रेणीक्रम संयोजन
(ख) समांतर संयोजन
(ग) मिश्रित संयोजन
(घ) कोई नहीं
उत्तर: (ख) समांतर संयोजन
5. विद्युत बल्ब का तंतु किस धातु का बना होता है?
(क) लोहा
(ख) टंगस्टन
(ग) तांबा
(घ) एल्युमीनियम
उत्तर: (ख) टंगस्टन
6. चुंबकीय क्षेत्र की दिशा ज्ञात करने के लिए किस नियम का प्रयोग किया जाता है?
(क) दक्षिण हस्त का नियम
(ख) फ्लेमिंग का वाम हस्त नियम
(ग) दक्षिण हस्त अंगुष्ठ नियम
(घ) लेंज का नियम
उत्तर: (ग) दक्षिण हस्त अंगुष्ठ नियम
7. विद्युत मोटर किस सिद्धांत पर कार्य करती है?
(क) विद्युत चुंबकीय प्रेरण
(ख) धारावाही चालक पर चुंबकीय क्षेत्र में लगने वाले बल
(ग) ओम का नियम
(घ) जूल का नियम
उत्तर: (ख) धारावाही चालक पर चुंबकीय क्षेत्र में लगने वाले बल
8. विद्युत जनित्र (जेनरेटर) का कार्य है:
(क) यांत्रिक ऊर्जा को विद्युत ऊर्जा में बदलना
(ख) विद्युत ऊर्जा को यांत्रिक ऊर्जा में बदलना
(ग) रासायनिक ऊर्जा को विद्युत ऊर्जा में बदलना
(घ) उष्मा ऊर्जा को विद्युत ऊर्जा में बदलना
उत्तर: (क) यांत्रिक ऊर्जा को विद्युत ऊर्जा में बदलना
9. भारत में घरेलू विद्युत आपूर्ति की आवृत्ति होती है:
(क) 50 Hz
(ख) 60 Hz
(ग) 100 Hz
(घ) 220 Hz
उत्तर: (क) 50 Hz
10. प्रकाश का अपवर्तन होता है:
(क) जब प्रकाश एक माध्यम से दूसरे माध्यम में जाता है
(ख) जब प्रकाश परावर्तित होता है
(ग) जब प्रकाश अवशोषित होता है
(घ) इनमें से कोई नहीं
उत्तर: (क) जब प्रकाश एक माध्यम से दूसरे माध्यम में जाता है
11. अवतल दर्पण द्वारा बना प्रतिबिंब होता है:
(क) सदैव वास्तविक
(ख) सदैव आभासी
(ग) वस्तु की स्थिति पर निर्भर करता है
(घ) इनमें से कोई नहीं
उत्तर: (ग) वस्तु की स्थिति पर निर्भर करता है
12. उत्तल लेंस की फोकस दूरी होती है:
(क) धनात्मक
(ख) ऋणात्मक
(ग) शून्य
(घ) अनंत
उत्तर: (क) धनात्मक
13. मानव नेत्र में प्रतिबिंब बनता है:
(क) कॉर्निया पर
(ख) परितारिका पर
(ग) रेटिना पर
(घ) नेत्र लेंस पर
उत्तर: (ग) रेटिना पर
14. निकट दृष्टि दोष को दूर करने के लिए प्रयोग किया जाता है:
(क) उत्तल लेंस
(ख) अवतल लेंस
(ग) बेलनाकार लेंस
(घ) द्वि-फोकसी लेंस
उत्तर: (ख) अवतल लेंस
15. प्रकाश का वर्ण विक्षेपण किस उपकरण से होता है?
(क) दर्पण
(ख) लेंस
(ग) प्रिज्म
(घ) काँच की पट्टी
उत्तर: (ग) प्रिज्म
16. इंद्रधनुष में कितने रंग होते हैं?
(क) 5
(ख) 6
(ग) 7
(घ) 8
उत्तर: (ग) 7
17. टिंडल प्रभाव प्रकाश के किस परिघटना से संबंधित है?
(क) परावर्तन
(ख) अपवर्तन
(ग) प्रकीर्णन
(घ) वर्ण विक्षेपण
उत्तर: (ग) प्रकीर्णन
18. ऊर्जा का SI मात्रक है:
(क) न्यूटन
(ख) जूल
(ग) वाट
(घ) पास्कल
उत्तर: (ख) जूल
19. नवीकरणीय ऊर्जा स्रोत का उदाहरण है:
(क) कोयला
(ख) पेट्रोलियम
(ग) सौर ऊर्जा
(घ) प्राकृतिक गैस
उत्तर: (ग) सौर ऊर्जा
20. बायोगैस में मुख्यतः पाई जाती है:
(क) ऑक्सीजन
(ख) मीथेन
(ग) नाइट्रोजन
(घ) हाइड्रोजन
उत्तर: (ख) मीथेन
21. विद्युत धारा क्या है? इसका मात्रक लिखिए। (2)
उत्तर: विद्युत धारा किसी चालक में विद्युत आवेश के प्रवाह की दर को कहते हैं। दूसरे शब्दों में, किसी चालक के किसी अनुप्रस्थ काट से प्रति एकांक समय में प्रवाहित होने वाले आवेश की मात्रा को विद्युत धारा कहते हैं।
विद्युत धारा का SI मात्रक एम्पियर (A) है। सूत्र के रूप में: I = Q/t, जहाँ I धारा, Q आवेश और t समय है।
22. प्रतिरोध को प्रभावित करने वाले कारकों के नाम लिखिए। (2)
उत्तर: किसी चालक का प्रतिरोध निम्नलिखित कारकों पर निर्भर करता है:
- चालक की लंबाई - प्रतिरोध लंबाई के अनुक्रमानुपाती होता है (R ∝ l)
- चालक के अनुप्रस्थ काट का क्षेत्रफल - प्रतिरोध क्षेत्रफल के व्युत्क्रमानुपाती होता है (R ∝ 1/A)
- चालक के पदार्थ की प्रकृति - विभिन्न पदार्थों की प्रतिरोधकता अलग-अलग होती है
- चालक का ताप - ताप बढ़ने पर प्रतिरोध बढ़ता है
23. विद्युत फ्यूज क्या है? यह कैसे कार्य करता है? (2)
उत्तर: विद्युत फ्यूज एक सुरक्षा युक्ति है जो विद्युत परिपथ में अत्यधिक धारा प्रवाहित होने पर परिपथ को स्वतः तोड़ देती है। यह टिन और सीसे की मिश्रधातु का बना एक तार होता है जिसका गलनांक कम होता है।
कार्य: जब परिपथ में अत्यधिक धारा प्रवाहित होती है तो फ्यूज तार अधिक ऊष्मा उत्पन्न करके गल जाता है और परिपथ टूट जाता है, जिससे उपकरणों को क्षति से बचाया जा सकता है।
24. चुंबकीय क्षेत्र रेखाओं के दो गुण लिखिए। (2)
उत्तर: चुंबकीय क्षेत्र रेखाओं के गुण:
- चुंबकीय क्षेत्र रेखाएं चुंबक के उत्तरी ध्रुव से निकलकर दक्षिणी ध्रुव पर समाप्त होती हैं तथा चुंबक के भीतर दक्षिणी ध्रुव से उत्तरी ध्रुव की ओर जाती हैं।
- चुंबकीय क्षेत्र रेखाएं कभी एक-दूसरे को काटती नहीं हैं। यदि वे एक-दूसरे को काटें तो कटान बिंदु पर दो दिशाएं होंगी जो असंभव है।
25. दीर्घ दृष्टि दोष क्या है? इसे कैसे दूर किया जाता है? (2)
उत्तर: दीर्घ दृष्टि दोष (हाइपरमेट्रोपिया) वह दृष्टि दोष है जिसमें व्यक्ति दूर की वस्तुओं को स्पष्ट देख सकता है परंतु निकट की वस्तुओं को स्पष्ट नहीं देख पाता। इस दोष में निकट की वस्तु का प्रतिबिंब रेटिना के पीछे बनता है।
इस दोष को उपयुक्त क्षमता के उत्तल लेंस (अभिसारी लेंस) के उपयोग से दूर किया जाता है। उत्तल लेंस प्रकाश किरणों को अभिसरित करके प्रतिबिंब को रेटिना पर बनाने में सहायता करता है।
26. सौर सेल क्या है? इसका एक उपयोग लिखिए। (2)
उत्तर: सौर सेल एक ऐसी युक्ति है जो सौर ऊर्जा (सूर्य के प्रकाश) को सीधे विद्युत ऊर्जा में परिवर्तित करती है। यह अर्धचालक पदार्थ (मुख्यतः सिलिकॉन) से बना होता है। जब सौर सेल पर सूर्य का प्रकाश पड़ता है तो यह विद्युत उत्पन्न करता है।
उपयोग: सौर सेल का उपयोग कृत्रिम उपग्रहों, सड़क की बत्तियों, कैलकुलेटर, घड़ियों और दूरस्थ क्षेत्रों में विद्युत आपूर्ति के लिए किया जाता है।
27. ओम के नियम को समझाइए। इसका सत्यापन करने के लिए प्रयोग का वर्णन कीजिए। (3)
अथवा
विद्युत प्रतिरोध को परिभाषित कीजिए। इसका SI मात्रक क्या है? तीन प्रतिरोधों के श्रेणीक्रम संयोजन का सूत्र लिखिए।
उत्तर: ओम का नियम: ओम के नियम के अनुसार, स्थिर ताप पर किसी चालक के सिरों पर लगाया गया विभवांतर (V), उसमें प्रवाहित धारा (I) के अनुक्रमानुपाती होता है।
सूत्र: V ∝ I या V = IR, जहाँ R चालक का प्रतिरोध है।
प्रयोग: ओम के नियम के सत्यापन के लिए निम्न परिपथ बनाते हैं:
- एक प्रतिरोध तार, बैटरी, अमीटर, वोल्टमीटर, प्लग कुंजी और धारा नियंत्रक (रिओस्टैट) को श्रेणीक्रम में जोड़ते हैं।
- वोल्टमीटर को प्रतिरोध तार के समांतर जोड़ते हैं।
- धारा नियंत्रक से परिपथ में धारा को बदलते हैं और विभिन्न मानों के लिए धारा और विभवांतर नोट करते हैं।
- V/I का अनुपात प्रत्येक बार लगभग स्थिर आता है, जो ओम के नियम को सत्यापित करता है।
- V और I के बीच ग्राफ खींचने पर एक सरल रेखा मिलती है जो मूल बिंदु से गुजरती है।
28. विद्युत मोटर का सिद्धांत और कार्यविधि समझाइए। (3)
उत्तर: सिद्धांत: विद्युत मोटर इस सिद्धांत पर कार्य करती है कि जब किसी धारावाही चालक को चुंबकीय क्षेत्र में रखा जाता है, तो उस पर एक बल कार्य करता है जो चालक को गति प्रदान करता है। बल की दिशा फ्लेमिंग के वाम हस्त नियम से ज्ञात की जाती है।
कार्यविधि:
- विद्युत मोटर में एक आयताकार कुंडली होती है जो शक्तिशाली चुंबकीय क्षेत्र में रखी होती है।
- जब कुंडली में विद्युत धारा प्रवाहित की जाती है, तो कुंडली की दोनों भुजाओं पर विपरीत दिशाओं में बल लगते हैं।
- ये बल कुंडली को अक्ष पर घूर्णन गति प्रदान करते हैं।
- विभक्त वलय दिक्परिवर्तक का उपयोग करके प्रत्येक आधे चक्कर के बाद धारा की दिशा उत्क्रमित हो जाती है, जिससे कुंडली एक ही दिशा में घूमती रहती है।
- इस प्रकार विद्युत ऊर्जा यांत्रिक ऊर्जा में परिवर्तित होती है।
29. विद्युत चुंबकीय प्रेरण क्या है? फैराडे के प्रयोग का वर्णन कीजिए। (3)
अथवा
AC और DC में तीन अंतर लिखिए।
उत्तर: विद्युत चुंबकीय प्रेरण: जब किसी बंद कुंडली और चुंबक के बीच आपेक्षिक गति होती है, तो कुंडली में विद्युत धारा प्रेरित होती है। इस घटना को विद्युत चुंबकीय प्रेरण कहते हैं।
फैराडे का प्रयोग:
- एक कुंडली को गैल्वेनोमीटर से जोड़ा जाता है।
- जब एक छड़ चुंबक को कुंडली की ओर या उससे दूर तेजी से गति कराई जाती है, तो गैल्वेनोमीटर में विक्षेप दिखाई देता है।
- यह विक्षेप दर्शाता है कि कुंडली में धारा प्रेरित हुई है।
- चुंबक की गति तेज करने पर विक्षेप बढ़ता है।
- चुंबक को स्थिर रखने पर कोई विक्षेप नहीं होता।
- चुंबक के ध्रुव बदलने पर विक्षेप की दिशा बदल जाती है।
30. प्रकाश के अपवर्तन के नियम लिखिए। निरपेक्ष अपवर्तनांक को परिभाषित कीजिए। (3)
उत्तर: प्रकाश के अपवर्तन के नियम:
- प्रथम नियम: आपतित किरण, अपवर्तित किरण और आपतन बिंदु पर अभिलंब तीनों एक ही तल में होते हैं।
- द्वितीय नियम (स्नेल का नियम): किन्हीं दो माध्यमों के लिए आपतन कोण की ज्या (sin i) और अपवर्तन कोण की ज्या (sin r) का अनुपात एक नियतांक होता है। इस नियतांक को दूसरे माध्यम का पहले माध्यम के सापेक्ष अपवर्तनांक कहते हैं।
सूत्र: sin i / sin r = n₂₁ (नियतांक)
निरपेक्ष अपवर्तनांक: किसी माध्यम का निरपेक्ष अपवर्तनांक, निर्वात (या वायु) में प्रकाश की चाल और उस माध्यम में प्रकाश की चाल का अनुपात होता है।
सूत्र: n = c/v, जहाँ c निर्वात में प्रकाश की चाल और v माध्यम में प्रकाश की चाल है।
31. उत्तल लेंस के लिए लेंस सूत्र लिखिए। आवर्धन क्षमता को परिभाषित कीजिए। (3)
उत्तर: लेंस सूत्र: उत्तल लेंस (या किसी भी लेंस) के लिए लेंस सूत्र निम्नलिखित है:
1/f = 1/v - 1/u
जहाँ:
- f = लेंस की फोकस दूरी
- v = प्रतिबिंब की दूरी (लेंस से)
- u = वस्तु की दूरी (लेंस से)
आवर्धन क्षमता: लेंस द्वारा बने प्रतिबिंब की ऊँचाई और वस्तु की ऊँचाई के अनुपात को आवर्धन क्षमता कहते हैं।
सूत्र: m = h'/h = v/u
जहाँ:
- m = आवर्धन
- h' = प्रतिबिंब की ऊँचाई
- h = वस्तु की ऊँचाई
- v = प्रतिबिंब की दूरी
- u = वस्तु की दूरी
32. वायुमंडल में प्रकाश का प्रकीर्णन क्या है? आकाश का रंग नीला क्यों दिखाई देता है? (3)
अथवा
मानव नेत्र की संरचना का नामांकित चित्र बनाइए।
उत्तर: प्रकाश का प्रकीर्णन: जब प्रकाश किसी माध्यम में उपस्थित सूक्ष्म कणों से टकराता है, तो प्रकाश विभिन्न दिशाओं में फैल जाता है। इस परिघटना को प्रकाश का प्रकीर्णन कहते हैं।
आकाश का नीला रंग:
- सूर्य का प्रकाश वायुमंडल से गुजरते समय वायु के सूक्ष्म कणों से टकराता है।
- प्रकीर्णन की मात्रा प्रकाश की तरंगदैर्ध्य पर निर्भर करती है। छोटी तरंगदैर्ध्य वाले प्रकाश का प्रकीर्णन अधिक होता है।
- नीले रंग की तरंगदैर्ध्य लाल रंग से कम होती है, इसलिए नीले रंग का प्रकीर्णन अधिक होता है।
- प्रकीर्णित नीला प्रकाश हमारी आँखों तक पहुँचता है, जिससे आकाश नीला दिखाई देता है।
- यदि पृथ्वी पर वायुमंडल न होता तो आकाश काला दिखाई देता।
33. ऊर्जा संरक्षण का नियम क्या है? ऊर्जा के दो गैर-नवीकरणीय स्रोतों के नाम लिखिए। (3)
उत्तर: ऊर्जा संरक्षण का नियम: ऊर्जा संरक्षण के नियम के अनुसार, ऊर्जा को न तो उत्पन्न किया जा सकता है और न ही नष्ट किया जा सकता है। यह केवल एक रूप से दूसरे रूप में परिवर्तित हो सकती है। किसी पृथक निकाय की कुल ऊर्जा सदैव संरक्षित रहती है।
उदाहरण: विद्युत बल्ब में विद्युत ऊर्जा, प्रकाश और ऊष्मा ऊर्जा में बदलती है।
गैर-नवीकरणीय ऊर्जा स्रोत: वे ऊर्जा स्रोत जो सीमित मात्रा में उपलब्ध हैं और एक बार उपयोग के बाद पुनः प्राप्त नहीं किए जा सकते, गैर-नवीकरणीय स्रोत कहलाते हैं।
दो उदाहरण:
- कोयला: यह जीवाश्म ईंधन है जो लाखों वर्षों में बनता है।
- पेट्रोलियम/प्राकृतिक गैस: ये भी जीवाश्म ईंधन हैं जो सीमित मात्रा में उपलब्ध हैं।
34. (क) जूल के तापन नियम को समझाइए और सूत्र लिखिए।
(ख) 220V, 100W का एक विद्युत बल्ब 220V की लाइन से जोड़ा गया है। बल्ब में प्रवाहित धारा और बल्ब का प्रतिरोध ज्ञात कीजिए।
(ग) यदि इस बल्ब को 5 घंटे तक उपयोग किया जाए तो कितनी विद्युत ऊर्जा व्यय होगी? (5)
अथवा
(क) विद्युत परिपथ में अमीटर और वोल्टमीटर को कैसे जोड़ा जाता है?
(ख) तीन प्रतिरोध 2Ω, 3Ω और 6Ω समांतर क्रम में जुड़े हैं। इनका तुल्य प्रतिरोध ज्ञात कीजिए।
(ग) यदि इस संयोजन को 12V की बैटरी से जोड़ा जाए तो प्रत्येक प्रतिरोध में प्रवाहित धारा ज्ञात कीजिए।
उत्तर:
(क) जूल का तापन नियम: जब किसी चालक में विद्युत धारा प्रवाहित होती है, तो उसमें ऊष्मा उत्पन्न होती है। जूल के नियम के अनुसार, उत्पन्न ऊष्मा (H):
- धारा के वर्ग के अनुक्रमानुपाती होती है (H ∝ I²)
- प्रतिरोध के अनुक्रमानुपाती होती है (H ∝ R)
- समय के अनुक्रमानुपाती होती है (H ∝ t)
सूत्र: H = I²Rt जूल या H = VIt जूल या H = V²t/R जूल
जहाँ I = धारा (एम्पियर), R = प्रतिरोध (ओम), t = समय (सेकंड), V = विभवांतर (वोल्ट)
(ख) हल:
दिया है: V = 220V, P = 100W
धारा ज्ञात करने के लिए: P = VI
I = P/V = 100/220 = 0.45 A
प्रतिरोध ज्ञात करने के लिए: R = V/I
R = 220/0.45 = 488.89 Ω
या R = V²/P = (220)²/100 = 48400/100 = 484 Ω
(ग) हल:
दिया है: P = 100W = 0.1 kW, t = 5 घंटे
विद्युत ऊर्जा = शक्ति × समय
E = P × t = 0.1 × 5 = 0.5 kWh या 500 Wh
या E = 0.5 यूनिट विद्युत ऊर्जा व्यय होगी।
35. (क) विद्युत जनित्र (जेनरेटर) का सिद्धांत लिखिए।
(ख) नामांकित चित्र बनाकर AC जनित्र की कार्यविधि समझाइए।
(ग) विद्युत जनित्र और विद्युत मोटर में दो अंतर लिखिए। (5)
अथवा
(क) फ्लेमिंग के वाम हस्त नियम को समझाइए।
(ख) किसी धारावाही वृत्ताकार पाश के कारण उसके केंद्र पर उत्पन्न चुंबकीय क्षेत्र को प्रभावित करने वाले कारक लिखिए।
(ग) विद्युत चुंबक के दो उपयोग लिखिए।
उत्तर:
(क) विद्युत जनित्र का सिद्धांत: विद्युत जनित्र विद्युत चुंबकीय प्रेरण के सिद्धांत पर कार्य करता है। जब किसी कुंडली को शक्तिशाली चुंबकीय क्षेत्र में घुमाया जाता है, तो कुंडली से गुजरने वाली चुंबकीय क्षेत्र रेखाओं की संख्या में परिवर्तन होता है, जिससे कुंडली में विद्युत धारा प्रेरित होती है। इस प्रकार यांत्रिक ऊर्जा को विद्युत ऊर्जा में परिवर्तित किया जाता है।
(ख) AC जनित्र की कार्यविधि:
संरचना: इसमें एक आयताकार कुंडली होती है जो शक्तिशाली चुंबकीय क्षेत्र में घूम सकती है। कुंडली के सिरे दो वलयों से जुड़े होते हैं जो दो कार्बन ब्रुशों से स्पर्श करते हैं।
कार्यविधि:
- जब कुंडली को चुंबकीय क्षेत्र में घुमाया जाता है, तो कुंडली से गुजरने वाली चुंबकीय क्षेत्र रेखाओं में परिवर्तन होता है।
- इससे कुंडली में विद्युत धारा प्रेरित होती है।
- कुंडली के एक चक्कर में धारा की दिशा दो बार बदलती है।
- वलय प्रत्येक आधे चक्कर के बाद ब्रुश बदल देते हैं, जिससे बाहरी परिपथ में प्रत्यावर्ती धारा (AC) मिलती है।
- इस प्रकार यांत्रिक ऊर्जा विद्युत ऊर्जा में बदलती है।
(ग) विद्युत जनित्र और विद्युत मोटर में अंतर:
विद्युत जनित्र | विद्युत मोटर |
---|---|
यांत्रिक ऊर्जा को विद्युत ऊर्जा में बदलता है | विद्युत ऊर्जा को यांत्रिक ऊर्जा में बदलता है |
विद्युत चुंबकीय प्रेरण के सिद्धांत पर कार्य करता है | चुंबकीय क्षेत्र में धारावाही चालक पर लगने वाले बल के सिद्धांत पर कार्य करता है |
36. (क) किरण आरेख द्वारा दर्शाइए कि उत्तल लेंस प्रकाश किरणों को कैसे अभिसरित करता है।
(ख) एक उत्तल लेंस की फोकस दूरी 15 cm है। लेंस से 30 cm दूरी पर रखी वस्तु का प्रतिबिंब कहाँ बनेगा? प्रतिबिंब की प्रकृति बताइए।
(ग) लेंस की क्षमता क्या है? इसका मात्रक लिखिए। (5)
अथवा
(क) अवतल दर्पण के मुख्य फोकस की परिभाषा लिखिए।
(ख) एक अवतल दर्पण की फोकस दूरी 20 cm है। दर्पण से 10 cm दूरी पर रखी वस्तु का प्रतिबिंब कहाँ बनेगा? किरण आरेख बनाइए।
(ग) दर्पण सूत्र और आवर्धन का सूत्र लिखिए।
उत्तर:
(क) उत्तल लेंस के मुख्य अक्ष के समांतर आने वाली किरणें अपवर्तन के पश्चात मुख्य फोकस से गुजरती हैं या मुख्य फोकस की ओर अभिसरित होती हैं। [किरण आरेख बनाना आवश्यक]
(ख) हल:
दिया है: f = +15 cm (उत्तल लेंस), u = -30 cm
लेंस सूत्र से: 1/f = 1/v - 1/u
1/15 = 1/v - 1/(-30)
1/15 = 1/v + 1/30
1/v = 1/15 - 1/30 = (2-1)/30 = 1/30
v = +30 cm
आवर्धन: m = v/u = 30/(-30) = -1
प्रतिबिंब की प्रकृति: प्रतिबिंब लेंस से 30 cm दूरी पर दूसरी ओर बनेगा। यह वास्तविक, उल्टा और वस्तु के बराबर आकार का होगा।
(ग) लेंस की क्षमता: किसी लेंस द्वारा प्रकाश किरणों को अभिसरित या अपसरित करने की क्षमता को लेंस की क्षमता कहते हैं। यह लेंस की फोकस दूरी के व्युत्क्रम के बराबर होती है।
सूत्र: P = 1/f (मीटर में)
मात्रक: डाइऑप्टर (D)
उत्तल लेंस की क्षमता धनात्मक और अवतल लेंस की क्षमता ऋणात्मक होती है।
37. निम्नलिखित परिच्छेद को पढ़कर प्रश्नों के उत्तर दीजिए:
घरेलू विद्युत परिपथ में सभी विद्युत उपकरण समांतर क्रम में जुड़े होते हैं। इससे प्रत्येक उपकरण पर समान विभवांतर (220V) लगता है और प्रत्येक उपकरण को स्वतंत्र रूप से चालू या बंद किया जा सकता है। विद्युत परिपथ में तीन तार होते हैं - विद्युन्मय तार (लाल या भूरा), उदासीन तार (काला या नीला) और भू-संपर्क तार (हरा)। विद्युत परिपथ की सुरक्षा के लिए फ्यूज और MCB का उपयोग किया जाता है।
(i) घरेलू परिपथ में उपकरण समांतर क्रम में क्यों जोड़े जाते हैं? (1)
(ii) विद्युन्मय तार का रंग कौन सा होता है? (1)
(iii) भू-संपर्क तार का क्या कार्य है? (2)
अथवा
MCB क्या है? यह फ्यूज से कैसे बेहतर है? (2)
उत्तर:
(i) घरेलू परिपथ में उपकरण समांतर क्रम में निम्न कारणों से जोड़े जाते हैं:
- प्रत्येक उपकरण पर समान विभवांतर (220V) मिलता है
- प्रत्येक उपकरण को स्वतंत्र रूप से चालू या बंद किया जा सकता है
- एक उपकरण खराब होने पर दूसरे उपकरण प्रभावित नहीं होते
(ii) विद्युन्मय तार का रंग लाल या भूरा होता है।
(iii) भू-संपर्क तार का कार्य: भू-संपर्क तार (अर्थ तार) का रंग हरा होता है। यह सुरक्षा उपाय के रूप में कार्य करता है। यह उपकरण के धात्विक आवरण को पृथ्वी से जोड़ता है। यदि किसी कारण से विद्युन्मय तार धात्विक आवरण से स्पर्श कर जाए तो विद्युत धारा भू-संपर्क तार से होकर पृथ्वी में चली जाती है और व्यक्ति विद्युत आघात से बच जाता है।
अथवा
MCB (Miniature Circuit Breaker): MCB एक स्वचालित स्विच है जो विद्युत परिपथ में अत्यधिक धारा प्रवाहित होने पर स्वतः परिपथ को तोड़ देता है।
MCB फ्यूज से बेहतर है क्योंकि:
- MCB को दोबारा उपयोग में लाया जा सकता है जबकि फ्यूज को बदलना पड़ता है
- MCB अधिक संवेदनशील और तेज़ कार्य करता है
- MCB में सटीक धारा सीमा निर्धारित की जा सकती है
38. निम्नलिखित परिच्छेद को पढ़कर प्रश्नों के उत्तर दीजिए:
मानव नेत्र प्रकृति का एक अद्भुत उपहार है। यह एक कैमरे की तरह कार्य करता है। नेत्र का लेंस उत्तल लेंस है जो रेटिना पर वस्तु का वास्तविक और उल्टा प्रतिबिंब बनाता है। रेटिना प्रकाश के प्रति संवेदनशील होता है और विद्युत संकेत मस्तिष्क को भेजता है। नेत्र की समंजन क्षमता के कारण हम विभिन्न दूरियों पर रखी वस्तुओं को स्पष्ट देख सकते हैं। सामान्य नेत्र के लिए निकट बिंदु 25 cm और दूर बिंदु अनंत होता है। कुछ व्यक्तियों को दृष्टि दोष हो सकते हैं जैसे निकट दृष्टि दोष, दीर्घ दृष्टि दोष और जरा दूरदर्शिता।
(i) मानव नेत्र में प्रतिबिंब कहाँ बनता है? (1)
(ii) सामान्य नेत्र का निकट बिंदु कितना होता है? (1)
(iii) नेत्र की समंजन क्षमता से क्या तात्पर्य है? (2)
अथवा
जरा दूरदर्शिता क्या है? इसे कैसे ठीक किया जाता है? (2)
उत्तर:
(i) मानव नेत्र में प्रतिबिंब रेटिना (दृष्टिपटल) पर बनता है।
(ii) सामान्य नेत्र का निकट बिंदु (स्पष्ट दृष्टि की न्यूनतम दूरी) लगभग 25 cm होता है।
(iii) नेत्र की समंजन क्षमता: नेत्र की वह क्षमता जिसके कारण वह अपनी फोकस दूरी को समायोजित करके विभिन्न दूरियों पर रखी वस्तुओं को रेटिना पर स्पष्ट प्रतिबिंब बना सकता है, समंजन क्षमता कहलाती है। नेत्र लेंस की वक्रता में परिवर्तन के द्वारा यह संभव होता है। पक्ष्माभी पेशियाँ नेत्र लेंस की वक्रता को बदलकर फोकस दूरी को समायोजित करती हैं।
अथवा
जरा दूरदर्शिता (प्रेसबायोपिया): यह वृद्धावस्था में होने वाला दृष्टि दोष है। इसमें व्यक्ति को निकट और दूर दोनों की वस्तुएँ स्पष्ट दिखाई नहीं देतीं। यह नेत्र लेंस की लचीलेपन में कमी और पक्ष्माभी पेशियों के कमजोर होने के कारण होता है।
उपचार: इस दोष को द्वि-फोकसी लेंस (बाइफोकल लेंस) के उपयोग से ठीक किया जाता है। इस लेंस के ऊपरी भाग में अवतल लेंस (दूर देखने के लिए) और निचले भाग में उत्तल लेंस (पास देखने के लिए) होता है।
39. निम्नलिखित परिच्छेद को पढ़कर प्रश्नों के उत्तर दीजिए:
ऊर्जा के पारंपरिक स्रोत जैसे कोयला, पेट्रोलियम और प्राकृतिक गैस सीमित मात्रा में हैं और इनके जलने से पर्यावरण प्रदूषण होता है। इसलिए ऊर्जा के वैकल्पिक स्रोतों की खोज आवश्यक है। सौर ऊर्जा, पवन ऊर्जा, जल ऊर्जा, जैव ऊर्जा और भूतापीय ऊर्जा नवीकरणीय ऊर्जा स्रोत हैं जो पर्यावरण के अनुकूल हैं। सौर सेल सौर ऊर्जा को सीधे विद्युत ऊर्जा में परिवर्तित करते हैं। पवन चक्कियाँ पवन ऊर्जा को विद्युत ऊर्जा में बदलती हैं। बायोगैस संयंत्र में जैव पदार्थों से गैस बनाई जाती है जो ईंधन के रूप में उपयोग की जाती है।
(i) कोयला और पेट्रोलियम किस प्रकार के ऊर्जा स्रोत हैं? (1)
(ii) सौर सेल का क्या कार्य है? (1)
(iii) बायोगैस के दो लाभ लिखिए। (2)
अथवा
पवन ऊर्जा के दो लाभ और दो सीमाएँ लिखिए। (2)
उत्तर:
(i) कोयला और पेट्रोलियम गैर-नवीकरणीय (अनवीकरणीय) ऊर्जा स्रोत हैं। ये जीवाश्म ईंधन हैं।
(ii) सौर सेल का कार्य सौर ऊर्जा (सूर्य के प्रकाश) को सीधे विद्युत ऊर्जा में परिवर्तित करना है।
(iii) बायोगैस के लाभ:
- नवीकरणीय ऊर्जा स्रोत: बायोगैस जैव अपशिष्ट से बनती है जो निरंतर उपलब्ध रहता है। यह कभी समाप्त नहीं होगी।
- पर्यावरण मित्र: बायोगैस जलने पर धुआँ नहीं देती और प्रदूषण कम करती है। इसके अवशेष उत्तम खाद के रूप में उपयोग होते हैं।
- अतिरिक्त लाभ: यह जैव अपशिष्ट के निपटान में भी सहायक है और स्वच्छता को बढ़ावा देती है।
अथवा
पवन ऊर्जा के लाभ:
- यह नवीकरणीय और पर्यावरण के अनुकूल ऊर्जा स्रोत है
- इसमें कोई ईंधन खर्च नहीं होता और प्रदूषण नहीं होता
पवन ऊर्जा की सीमाएँ:
- पवन ऊर्जा फार्म केवल उन्हीं स्थानों पर स्थापित किए जा सकते हैं जहाँ वर्ष के अधिकांश दिनों में तेज़ हवा चलती है
- पवन चक्की स्थापित करने की प्रारंभिक लागत बहुत अधिक होती है और इसके लिए बड़े क्षेत्र की आवश्यकता होती है
--- प्रश्न पत्र समाप्त ---
यह एक मॉडल प्रश्न पत्र है जो NCERT पाठ्यक्रम और CBSE बोर्ड परीक्षा के पैटर्न पर आधारित है।
विषय | भौतिक विज्ञान (Physics) |
---|---|
समय | 3 घंटे |
पूर्णांक | 80 (थ्योरी) + 20 (आंतरिक) |
पैटर्न रेफरेंस | वास्तविक बोर्ड-पैटर्न; सेक्शन A–E (MCQ, AR, Case Study, Numericals, LA) |
NCERT Class 10 Physics Model Paper (Answers Included)
यह मॉडल पेपर कक्षा 10 भौतिक विज्ञान के लिए वास्तविक बोर्ड पैटर्न को ध्यान में रखकर बनाया गया है। संरचना 12वीं फिजिक्स की तरह स्पष्ट सेक्शनिंग, अंक-विभाजन और उत्तर-लेखन संकेतों के साथ दी गई है, ताकि अवधारणाएँ और प्रस्तुति—दोनों का अभ्यास हो सके।
प्रश्न पत्र संरचना (Pattern & Marks)
सेक्शन | प्रकृति | प्रश्न | अंक |
---|---|---|---|
A | MCQ (एक सही विकल्प) | 20 | 20 |
B | Very Short (20–30 शब्द) | 6 | 12 |
C | Short Answer (50–60 शब्द) | 6 | 18 |
D | Assertion–Reason | 4 | 8 |
E | Case Study (डेटा/चित्र आधारित) | 2 | 8 |
F | Numerical/Long Answer | 2 | 14 |
कुल | 80 |
Section A – MCQ (20×1=20)
- विद्युत धारा का SI मात्रक है—
(a) वोल्ट (b) कुलॉम (c) एम्पीयर (d) ओम
Answer: (c) एम्पीयर
- किस यंत्र से परिपथ में धारा मापते हैं?
(a) वोल्टमीटर (b) एमीटर (c) गैल्वेनोमीटर (d) ओह्ममीटर
Answer: (b) एमीटर
- ओम के नियम के अनुसार V–I ग्राफ की ढलान दर्शाती है—
(a) प्रतिरोध (b) चालकता (c) वोल्टेज (d) शक्ति
Answer: (a) प्रतिरोध
- श्रृंखला संयोजन में कुल प्रतिरोध—
(a) घटता है (b) बढ़ता है (c) समान रहता है (d) अनिश्चित
Answer: (b) बढ़ता है
- चुंबकीय क्षेत्र रेखाएँ किस ध्रुव से किस ध्रुव की ओर जाती हैं?
(a) S से N (b) N से S (c) केंद्र से बाहर (d) यादृच्छिक
Answer: (b) N से S बाहर; पदार्थ के भीतर S से N
- दर्पण सूत्र है—
(a) 1/f = 1/u + 1/v (b) f = u+v (c) m = v/u (d) v = fu
Answer: (a)
- उत्तल दर्पण का फोकस—
(a) वास्तविक (b) काल्पनिक (c) दोनों (d) कोई नहीं
Answer: (b) काल्पनिक
- विद्युत शक्ति P की SI इकाई—
(a) जूल (b) वॉट (c) न्यूटन (d) पास्कल
Answer: (b) वॉट
- विद्युत ऊर्जा (E) = P×t; घरेलू बिल की इकाई—
(a) जूल (b) वॉट (c) किलोवॉट-घंटा (d) एंपेयर-घंटा
Answer: (c) kWh
- विसरण (Dispersion) होता है—
(a) प्रकाश का अवशोषण (b) रंगों का पृथक्करण (c) परावर्तन (d) अपवर्तन शून्य
Answer: (b)
- अर्धचालक उपकरण में P–N जंक्शन प्रयोग होता है—
(a) डायोड (b) रेसिस्टर (c) सोलनॉइड (d) ट्रांसफॉर्मर
Answer: (a)
- नकारात्मक आवेश वहन करने वाला मूलभूत कण—
(a) प्रोटॉन (b) न्यूट्रॉन (c) इलेक्ट्रॉन (d) पॉज़िट्रॉन
Answer: (c)
- फ्यूज तार का गलनांक सामान्यतः—
(a) बहुत अधिक (b) बहुत कम (c) समान (d) शून्य
Answer: (b)
- विद्युत अपघटन में आवेश का मात्रक—
(a) न्यूटन (b) कूलॉम (c) ओम (d) वोल्ट
Answer: (b)
- दृष्टिदोष “मायोपिया” को सुधारा जाता है—
(a) उत्तल लेंस (b) अवतल लेंस (c) बेलनाकार लेंस (d) प्रिज्म
Answer: (b)
- सोलनॉइड के अंदर चुंबकीय क्षेत्र समान होता है क्योंकि—
(a) कुंडली फैली होती है (b) कुण्डली घनी (c) धारा नहीं बहती (d) शून्य
Answer: (b)
- निम्न में विद्युत का उत्तम चालक—
(a) काँच (b) रबर (c) तांबा (d) लकड़ी
Answer: (c)
- फोकस दूरी दोगुनी हो जाने पर शक्ति (Power of lens) —
(a) दोगुनी (b) आधी (c) चार गुना (d) समान
Answer: (b) P=1/f
- विद्युत परिपथ में उपकरणों को समानांतर जोड़ने का लाभ—
(a) कुल वोल्टेज घटता (b) प्रत्येक पर समान वोल्टेज (c) धारा समान (d) सब गलत
Answer: (b)
- वर्षा के बाद इंद्रधनुष बनता है—
(a) परावर्तन (b) अपवर्तन और आंतरिक परावर्तन (c) विवर्तन (d) ध्रुवण
Answer: (b)
Section B – Very Short Answer (6×2=12)
- ओम का नियम लिखें।
Answer: नियत ताप पर किसी चालक में बहने वाली धारा V के अनुपाती होती है: V = IR, जहाँ R प्रतिरोध है।
- श्रृंखला और समानांतर संयोजन में एक-एक लाभ लिखें।
Answer: श्रृंखला: धारा समान रहती। समानांतर: प्रत्येक उपकरण पर समान वोल्टेज; एक खराब होने पर अन्य कार्यशील।
- प्रतिबिंब और वास्तविक प्रतिबिंब में अंतर (एक-एक बिंदु)।
Answer: वास्तविक स्क्रीन पर प्राप्त; काल्पनिक स्क्रीन पर नहीं। वास्तविक किरणें अभिसरण; काल्पनिक में अपसरण।
- विद्युत शक्ति का सूत्र और इकाई।
Answer: P = VI = I²R = V²/R; इकाई वॉट (W)।
- मायोपिया का कारण क्या है?
Answer: नेत्रगोलक लंबा/लेंस की शक्ति अधिक; दूर की वस्तु की छवि रेटिना से पहले बनती।
- AC और DC में एक अंतर।
Answer: DC की दिशा व परिमाण स्थिर; AC का परिमाण व दिशा समयानुसार बदलते हैं।
Section C – Short Answer (6×3=18)
- किर्चॉफ का जंक्शन नियम लिखकर उसका भौतिक अर्थ बताइए।
Answer: किसी संयोजन बिंदु पर प्रवेशित कुल धाराओं का बीजीय योग निकासित धाराओं के योग के बराबर: आवेश संरक्षण का परिणाम।
- दर्पण के लिए आवर्धन (Magnification) का सूत्र लिखिए और उसका संकेत बताइए।
Answer: m = h'/h = -v/u; m>1 बड़ा प्रतिबिंब; m<1 छोटा; ऋण चिह्न वास्तविक/उल्टा दर्शा सकता है (दर्पण सम्मेलन पर निर्भर)।
- मानव नेत्र का निकट बिंदु और दूर बिंदु स्पष्ट कीजिए।
Answer: सामान्य नेत्र का निकट बिंदु ~25 cm; दूर बिंदु अनंत। निकट बिंदु से पास वस्तु स्पष्ट नहीं; दूर बिंदु से दूर वस्तु स्पष्ट नहीं।
- विद्युत चुम्बकीय प्रेरण का फैराडे का नियम संक्षेप में लिखें।
Answer: परिपथ में प्रेरित विभव परिवर्तित चुंबकीय फ्लक्स के समय-व्युत्पन्न के अनुपाती होता है: ε = -dΦ/dt (ऋण चिह्न—लेन्ज का नियम)।
- रेसिस्टिव हीटिंग का उपयोग और एक सावधानी लिखिए।
Answer: इस्त्री/हीटर/टोस्टर; सावधानी—रेटिंग के अनुसार उचित फ्यूज/MCB लगाना और समानांतर कनेक्शन।
- प्रिज्म में विचलन क्यों होता है?
Answer: प्रिज्म के दो अपवर्तक पृष्ठों से अपवर्तन; विभिन्न तरंगदैर्घ्य के लिए अपवर्तनांक अलग, इसलिए पथ बदलता और रंग अलग होते हैं (विसरण)।
Section D – Assertion–Reason (4×2=8)
प्रत्येक में सही विकल्प चुनिए: (A) दोनों सत्य और R, A का सही कारण; (B) दोनों सत्य पर R, A का कारण नहीं; (C) A सत्य, R असत्य; (D) A असत्य, R सत्य।
- A: श्रृंखला संयोजन में कुल प्रतिरोध बढ़ता है।
R: श्रृंखला में समतुल्य प्रतिरोध का व्यंजक R=R₁+R₂+... है।
Answer: (A)
- A: उत्तल दर्पण सदैव वास्तविक प्रतिबिंब बनाता है।
R: उत्तल दर्पण का फोकस काल्पनिक होता है।
Answer: (D) — A असत्य; उत्तल दर्पण सदैव काल्पनिक छोटा सीधा प्रतिबिंब बनाता है।
- A: kWh ऊर्जा की व्यावहारिक इकाई है।
R: 1 kWh = 3.6×106 J.
Answer: (A)
- A: अवतल लेंस मायोपिया सुधारता है।
R: अवतल लेंस किरणों को अपसारित करता है ताकि छवि रेटिना पर बने।
Answer: (A)
Section E – Case Study (2×4=8)
केस–1: घरेलू परिपथ और सुरक्षा
एक घर में 230 V AC सप्लाई है। तीन उपकरण जुड़े हैं—इस्त्री (1000 W), बल्ब (100 W), फ्रिज (200 W)। परिपथ समानांतर है और 5 A फ्यूज लगा है।
- सभी उपकरण चालू होने पर कुल धारा कितनी होगी?
Answer: I = P/V = (1000+100+200)/230 ≈ 6.0 A
- क्या 5 A फ्यूज पर्याप्त है? कारण।
Answer: नहीं; 6 A > 5 A, फ्यूज पिघल सकता है—उच्च रेटिंग (10 A) चाहिए।
- समानांतर संयोजन क्यों उचित है?
Answer: सभी पर समान 230 V; एक खराब हो तो अन्य प्रभावित नहीं; स्वतंत्र नियंत्रण।
- ऊर्जा उपभोग: इस्त्री 30 मिनट और बल्ब 2 घंटे—kWh में।
Answer: E = (1.0×0.5)+(0.1×2)=0.5+0.2=0.7 kWh
केस–2: दर्पण–लेंस प्रयोग
एक अवतल दर्पण में वस्तु फोकस और केंद्र वक्रता के बीच रखी है; तथा 20 cm फोकस वाले उत्तल लेंस का उपयोग किया गया।
- अवतल दर्पण में प्रतिबिंब का स्वभाव।
Answer: वास्तविक, उल्टा, बड़ा; केंद्र वक्रता से परे बनेगा।
- उत्तल लेंस की शक्ति लिखिए।
Answer: P=1/f=1/0.20=+5 D
- यदि वस्तु दूरी u = –30 cm, f = +20 cm हो, v ज्ञात करें।
Answer: 1/f = 1/v – 1/u ⇒ 1/20 = 1/v + 1/30 ⇒ 1/v = 1/20 – 1/30 = 1/60 ⇒ v = 60 cm
- आवर्धन m कितना होगा?
Answer: m = v/u = 60/(–30) = –2 (वास्तविक, उल्टा, दुगना बड़ा)
Section F – Numericals / Long Answer (2×7=14)
- संख्यात्मक–1: 12 Ω और 6 Ω प्रतिरोध श्रृंखला में 6 V बैटरी से जुड़े हैं।
(i) कुल प्रतिरोध, (ii) धारा, (iii) प्रत्येक पर विभवान्तर, (iv) कुल शक्ति।
Answer: (i) R = 12+6 = 18 Ω; (ii) I = V/R = 6/18 = 0.333 A; (iii) V12=I×12=4 V, V6=2 V; (iv) P=VI=6×0.333≈2 W
- लॉन्ग–1 (ऑप्टिक्स): दर्पण सूत्र और आवर्धन से अवतल दर्पण हेतु छवि-निर्माण का व्युत्पादन संक्षेप में लिखें। एक किरण आरेख बनाइए जो वस्तु को C और F के बीच दर्शाए व छवि का स्वभाव बताए।
Answer (संक्षेप): गोलेय दर्पण के लिए 1/f=1/v+1/u (चिन्ह परंपरा: वस्तु दूरी u ऋणात्मक)। आवर्धन m = -v/u = h'/h। जब वस्तु F और C के बीच, तब v > C (रियल, उल्टा, आवर्धित)। आरेख: प्रमुख किरणें—(i) धुरी के समांतर → F से, (ii) F से → समांतर लौटती, (iii) धुरी पर केंद्र से गुजरने वाली।
उत्तर–संकेत (संक्षेप)
सेक्शन–A के विकल्प नीचे दिए गए क्रम में हैं: 1–c, 2–b, 3–a, 4–b, 5–b, 6–a, 7–b, 8–b, 9–c, 10–b, 11–a, 12–c, 13–b, 14–b, 15–b, 16–b, 17–c, 18–b, 19–b, 20–b.