सोमवार, 11 अगस्त 2025

सामान्य विज्ञान – जीव विज्ञान (Basics): कोशिका, पाचन, श्वसन, रक्त संचार और स्वास्थ्य

जीव विज्ञान के मूलभूत सिद्धांत - कोशिका संरचना, पाचन, श्वसन, रक्त संचार प्रणाली

जीव विज्ञान के मूलभूत सिद्धांत

कोशिका संरचना, पाचन, श्वसन, रक्त संचार प्रणाली और मानव स्वास्थ्य का विस्तृत अध्ययन

1. परिचय

जीव विज्ञान (Biology) जीवन का अध्ययन है। यह विज्ञान की वह शाखा है जो जीवित प्राणियों की संरचना, कार्यप्रणाली, वृद्धि, विकास, वितरण और वर्गीकरण का अध्ययन करती है। मानव शरीर एक जटिल जैविक प्रणाली है जिसमें अरबों कोशिकाएं मिलकर विभिन्न अंग प्रणालियों का निर्माण करती हैं।

37.2°C
मानव शरीर का सामान्य तापमान
206
वयस्क मानव में हड्डियों की संख्या
11
मुख्य अंग प्रणालियों की संख्या
जीव विज्ञान की शाखाएं: वनस्पति विज्ञान (Botany), जंतु विज्ञान (Zoology), सूक्ष्म जीव विज्ञान (Microbiology), आनुवंशिकता (Genetics), पारिस्थितिकी (Ecology), और जैव रसायन (Biochemistry) आदि।

2. कोशिका संरचना

2.1 कोशिका सिद्धांत

कोशिका सिद्धांत के मुख्य सिद्धांत:
  • सभी जीवित प्राणी एक या अधिक कोशिकाओं से बने होते हैं
  • कोशिका जीवन की मूलभूत इकाई है
  • सभी कोशिकाएं पूर्व-विद्यमान कोशिकाओं से ही बनती हैं

कोशिका सिद्धांत का प्रतिपादन मैथियास श्लाइडेन (1838) और थियोडोर श्वान (1839) द्वारा किया गया। बाद में रुडोल्फ विर्चो (1855) ने "ओमनिस सेल्युला ई सेल्युला" का सिद्धांत दिया।

2.2 कोशिका के प्रकार

विशेषता प्रोकैरियोटिक कोशिका यूकैरियोटिक कोशिका
केंद्रक झिल्ली रहित केंद्रक झिल्ली युक्त केंद्रक
आकार 0.1-5.0 μm 10-100 μm
कोशिकांग झिल्ली युक्त कोशिकांग अनुपस्थित झिल्ली युक्त कोशिकांग उपस्थित
DNA साइटोप्लाज्म में बिखरा हुआ केंद्रक में संगठित
उदाहरण बैक्टीरिया, साइनोबैक्टीरिया पौधे, जंतु, कवक

2.3 कोशिकांग

प्रमुख कोशिकांग और उनके कार्य:

कोशिकांग संरचना मुख्य कार्य उपस्थिति
केंद्रक (Nucleus) द्विझिल्लीय आनुवंशिक नियंत्रण यूकैरियोटिक कोशिकाओं में
माइटोकॉन्ड्रिया द्विझिल्लीय ATP उत्पादन (शक्ति गृह) सभी यूकैरियोटिक कोशिकाओं में
राइबोसोम RNA + प्रोटीन प्रोटीन संश्लेषण सभी कोशिकाओं में
एंडोप्लाज्मिक रेटिकुलम झिल्लीय नेटवर्क परिवहन और संश्लेषण यूकैरियोटिक कोशिकाओं में
गॉल्जी बॉडी चपटी थैलियां प्रोटीन प्रसंस्करण यूकैरियोटिक कोशिकाओं में
लाइसोसोम एकल झिल्ली पाचन (आत्महत्या थैली) जंतु कोशिकाओं में
क्लोरोप्लास्ट द्विझिल्लीय प्रकाश संश्लेषण केवल पादप कोशिकाओं में
महत्वपूर्ण तथ्य: मानव शरीर में लगभग 37.2 ट्रिलियन कोशिकाएं हैं। सबसे बड़ी कोशिका मुर्गी का अंडा है और सबसे छोटी कोशिका माइकोप्लाज्मा बैक्टीरिया है।

3. पाचन तंत्र

3.1 पाचन अंग

मानव पाचन तंत्र आहार नाल (Alimentary Canal) और सहायक पाचन ग्रंथियों से मिलकर बना है।

आहार नाल की संरचना:

मुंह → ग्रसनी → अन्नप्रणाली → आमाशय → छोटी आंत → बड़ी आंत → मलाशय → गुदा

कुल लंबाई: लगभग 9 मीटर (30 फीट)
अंग लंबाई/आकार मुख्य कार्य विशेषताएं
मुंह - भोजन का चबाना और लार मिलाना 32 दांत, जीभ, लार ग्रंथियां
अन्नप्रणाली 25 सेमी भोजन को आमाशय तक पहुंचाना क्रमाकुंचन गति
आमाशय 1.5 लीटर क्षमता भोजन का अस्थायी भंडारण और प्रारंभिक पाचन HCl और पेप्सिन स्राव
छोटी आंत 6-7 मीटर मुख्य पाचन और अवशोषण ग्रहणी, अग्न्याशय, यकृत स्राव
बड़ी आंत 1.5 मीटर जल अवशोषण और मल निर्माण आंत्र बैक्टीरिया

3.2 पाचन प्रक्रिया

पाचन के चरण:

  1. अंतर्ग्रहण (Ingestion): भोजन को मुंह में लेना
  2. पाचन (Digestion): भोजन को सरल अणुओं में तोड़ना
  3. अवशोषण (Absorption): पचे हुए भोजन को रक्त में मिलाना
  4. स्वांगीकरण (Assimilation): पोषक तत्वों का उपयोग
  5. उत्सर्जन (Egestion): अपशिष्ट पदार्थों का निकालना

3.3 पाचक एंजाइम

एंजाइम स्राव स्थान कार्य स्थल pH कार्य
सैलिवरी एमाइलेज लार ग्रंथियां मुंह 6.8 स्टार्च को माल्टोस में बदलना
पेप्सिन आमाशय आमाशय 1.5-2.0 प्रोटीन को पेप्टोन में बदलना
ट्रिप्सिन अग्न्याशय ग्रहणी 8.1 प्रोटीन का पाचन
लाइपेज अग्न्याशय छोटी आंत 8.1 वसा का पाचन
एंटेरोकाइनेज आंत्र रस छोटी आंत 8.3 ट्रिप्सिनोजेन को सक्रिय करना
पाचन संबंधी विकार: पेप्टिक अल्सर, गैस्ट्राइटिस, कब्ज, दस्त, आंत्रशोथ, पथरी, पीलिया आदि प्रमुख पाचन संबंधी समस्याएं हैं।

4. श्वसन प्रणाली

4.1 श्वसन अंग

श्वसन पथ:
नासिका → ग्रसनी → स्वरयंत्र → श्वासनली → श्वसनी → फेफड़े → वायुकोष
अंग संरचना कार्य विशेषताएं
नासिका बाह्य और आंतरिक नासिका वायु को फिल्टर, गर्म और नम करना बाल और श्लेष्मा झिल्ली
स्वरयंत्र उपास्थि और स्वर तंतु आवाज उत्पादन एडम्स एप्पल (पुरुषों में)
श्वासनली 10-12 सेमी लंबी वायु का मार्ग C-आकार की उपास्थि वलय
फेफड़े दो फेफड़े (दाएं में 3, बाएं में 2 खंड) गैसों का आदान-प्रदान 30 करोड़ वायुकोष
डायाफ्राम गुंबदाकार मांसपेशी श्वसन गति मुख्य श्वसन पेशी

4.2 श्वसन की प्रक्रिया

12-16
प्रति मिनट सामान्य श्वसन दर
500 mL
टाइडल वॉल्यूम
6000 mL
फेफड़ों की कुल क्षमता

श्वसन के चरण:

  1. श्वास अंदर लेना (Inspiration):
    • डायाफ्राम सिकुड़ता है और नीचे जाता है
    • वक्षीय गुहा का आयतन बढ़ता है
    • वायुदाब कम हो जाता है
    • वायु फेफड़ों में प्रवेश करती है
  2. श्वास छोड़ना (Expiration):
    • डायाफ्राम शिथिल होकर ऊपर जाता है
    • वक्षीय गुहा का आयतन कम हो जाता है
    • वायुदाब बढ़ जाता है
    • वायु फेफड़ों से बाहर निकलती है

4.3 गैसों का आदान-प्रदान

गैस वायुमंडलीय वायु (%) श्वास में ली गई वायु (%) छोड़ी गई वायु (%)
ऑक्सीजन (O₂) 20.93 16.4 14.4
कार्बन डाइऑक्साइड (CO₂) 0.04 4.4 5.6
नाइट्रोजन (N₂) 79.02 79.2 80.0
गैसों का परिवहन: ऑक्सीजन मुख्यतः हीमोग्लोबिन के साथ जुड़कर (98%) और कुछ प्लाज्मा में घुलकर (2%) परिवहन होती है। CO₂ का 70% बाइकार्बोनेट के रूप में, 20% हीमोग्लोबिन के साथ और 10% प्लाज्मा में घुलकर परिवहन होता है।

5. रक्त संचार प्रणाली

5.1 हृदय की संरचना

मानव हृदय चार कक्षीय है और बाएं स्तन के नीचे वक्षीय गुहा में स्थित है। इसका वजन लगभग 300 ग्राम होता है।

हृदय के कक्ष स्थिति कार्य रक्त प्रकार
दाएं आलिंद (Right Atrium) ऊपरी दाएं शरीर से अशुद्ध रक्त प्राप्त करना विऑक्सीजनेटेड
दाएं निलय (Right Ventricle) निचला दाएं फेफड़ों में रक्त भेजना विऑक्सीजनेटेड
बाएं आलिंद (Left Atrium) ऊपरी बाएं फेफड़ों से शुद्ध रक्त प्राप्त करना ऑक्सीजनेटेड
बाएं निलय (Left Ventricle) निचला बाएं शरीर में रक्त भेजना ऑक्सीजनेटेड

हृदय के वाल्व:

  • ट्राइकस्पिड वाल्व: दाएं आलिंद और दाएं निलय के बीच
  • पल्मोनरी वाल्व: दाएं निलय और फुफ्फुसीय धमनी के बीच
  • बाइकस्पिड (मिट्रल) वाल्व: बाएं आलिंद और बाएं निलय के बीच
  • एओर्टिक वाल्व: बाएं निलय और महाधमनी के बीच
72
प्रति मिनट हृदय गति
70 mL
स्ट्रोक वॉल्यूम
5 L
प्रति मिनट कार्डियक आउटपुट

5.2 रक्त नलिकाएं

रक्त नलिका दिशा दीवार की मोटाई रक्तदाब वाल्व
धमनी (Artery) हृदय से बाहर मोटी और लचीली उच्च केवल हृदय के पास
शिरा (Vein) हृदय की ओर पतली निम्न पूरी लंबाई में
केशिका (Capillary) ऊतकों में अति पतली (एक कोशिका मोटी) अति निम्न नहीं

5.3 रक्त की संरचना

रक्त एक तरल संयोजी ऊतक है जो शरीर के कुल भार का 7-8% होता है। वयस्क व्यक्ति में लगभग 5-6 लीटर रक्त होता है।

घटक प्रतिशत मुख्य कार्य सामान्य मान
प्लाज्मा 55% परिवहन, pH नियंत्रण 90% पानी, 10% घुले पदार्थ
लाल रक्त कोशिकाएं (RBC) 40-45% ऑक्सीजन परिवहन पुरुष: 5.0 मिलियन/μL
महिला: 4.5 मिलियन/μL
सफेद रक्त कोशिकाएं (WBC) 1% प्रतिरक्षा 4,000-11,000/μL
प्लेटलेट्स 1% रक्त स्कंदन 1.5-4.0 लाख/μL

रक्त समूह:

रक्त समूह एंटीजन एंटीबॉडी रक्त दे सकता है रक्त ले सकता है
A A Anti-B A, AB A, O
B B Anti-A B, AB B, O
AB A, B कोई नहीं AB A, B, AB, O (सर्वग्राही)
O कोई नहीं Anti-A, Anti-B A, B, AB, O (सर्वदाता) O

6. मानव स्वास्थ्य

6.1 प्रतिरक्षा प्रणाली

प्रतिरक्षा प्रणाली शरीर को हानिकारक रोगजनकों से बचाती है। यह जन्मजात और अर्जित प्रतिरक्षा में विभाजित है।

प्रतिरक्षा के प्रकार:

प्रकार विशेषताएं घटक उदाहरण
जन्मजात प्रतिरक्षा तुरंत सक्रिय, गैर-विशिष्ट त्वचा, श्लेष्मा झिल्ली, न्यूट्रोफिल्स त्वचा का बैरियर, बुखार
अर्जित प्रतिरक्षा विलंबित, विशिष्ट, स्मृति B कोशिकाएं, T कोशिकाएं एंटीबॉडी, वैक्सीनेशन

प्रमुख प्रतिरक्षा अंग:

  • प्राथमिक अंग: अस्थि मज्जा, थाइमस
  • द्वितीयक अंग: प्लीहा, लसीका ग्रंथियां, टॉन्सिल
  • लसीका तंत्र: संक्रमण से सुरक्षा और द्रव संतुलन

6.2 रोग और बचाव

संक्रामक रोग:

रोगजनक रोग उदाहरण संचरण माध्यम बचाव
वायरस COVID-19, डेंगू, पोलियो हवा, मच्छर, संदूषित भोजन वैक्सीनेशन, स्वच्छता
बैक्टीरिया टीबी, निमोनिया, हैजा हवा, पानी, भोजन एंटीबायोटिक्स, स्वच्छता
प्रोटोजोआ मलेरिया, अमीबायसिस मच्छर, संदूषित पानी मच्छरदानी, स्वच्छ पानी
कवक दाद, खुजली सीधा संपर्क व्यक्तिगत स्वच्छता

गैर-संक्रामक रोग:

  • हृदय रोग: उच्च रक्तचाप, हार्ट अटैक, स्ट्रोक
  • मधुमेह: टाइप 1, टाइप 2
  • कैंसर: फेफड़े, स्तन, पेट का कैंसर
  • श्वसन रोग: अस्थमा, COPD
  • मानसिक स्वास्थ्य: अवसाद, चिंता

6.3 पोषण

पोषक तत्व कार्य स्रोत कमी से होने वाले रोग
कार्बोहाइड्रेट ऊर्जा प्रदान करना चावल, गेहूं, आलू कमजोरी, वजन कमी
प्रोटीन शरीर निर्माण और मरम्मत दाल, मांस, अंडे क्वाशियोरकर, मरास्मस
वसा ऊर्जा भंडारण, विटामिन अवशोषण तेल, घी, नट्स त्वचा रोग, विटामिन की कमी
विटामिन A दृष्टि, प्रतिरक्षा गाजर, पत्तेदार सब्जियां रात अंधापन, जेरोफथेल्मिया
विटामिन C कोलेजन संश्लेषण खट्टे फल, आंवला स्कर्वी
आयरन हीमोग्लोबिन निर्माण हरी पत्तेदार सब्जियां एनीमिया
कैल्शियम हड्डी और दांत निर्माण दूध, दही, तिल ऑस्टियोपोरोसिस, रिकेट्स
संतुलित आहार: एक संतुलित आहार में सभी पोषक तत्व उचित मात्रा में होने चाहिए। WHO के अनुसार वयस्क व्यक्ति को दैनिक 2000-2500 कैलोरी की आवश्यकता होती है।
7. महत्वपूर्ण प्रश्नोत्तरी - UPSC स्तरीय
प्रश्न 1: कोशिका सिद्धांत का विस्तार से वर्णन करें और इसके प्रतिपादकों के नाम बताएं।
उत्तर: कोशिका सिद्धांत जीव विज्ञान का मौलिक सिद्धांत है जिसके तीन मुख्य सिद्धांत हैं:
  • पहला सिद्धांत: सभी जीवित प्राणी एक या अधिक कोशिकाओं से बने होते हैं
  • दूसरा सिद्धांत: कोशिका जीवन की मूलभूत संरचनात्मक और कार्यात्मक इकाई है
  • तीसरा सिद्धांत: सभी कोशिकाएं पूर्व-विद्यमान कोशिकाओं से ही बनती हैं
प्रतिपादक: मैथियास श्लाइडेन (1838) - पादप कोशिका, थियोडोर श्वान (1839) - जंतु कोशिका, रुडोल्फ विर्चो (1855) - "ओमनिस सेल्युला ई सेल्युला"
प्रश्न 2: प्रोकैरियोटिक और यूकैरियोटिक कोशिकाओं के बीच मुख्य अंतर बताएं।
उत्तर: प्रोकैरियोटिक और यूकैरियोटिक कोशिकाओं के मुख्य अंतर:
  • केंद्रक: प्रोकैरियोटिक में झिल्ली रहित, यूकैरियोटिक में झिल्ली युक्त
  • आकार: प्रोकैरियोटिक छोटी (0.1-5.0 μm), यूकैरियोटिक बड़ी (10-100 μm)
  • कोशिकांग: प्रोकैरियोटिक में झिल्ली युक्त कोशिकांग अनुपस्थित
  • DNA संगठन: प्रोकैरियोटिक में साइटोप्लाज्म में बिखरा, यूकैरियोटिक में केंद्रक में संगठित
  • उदाहरण: प्रोकैरियोटिक - बैक्टीरिया, यूकैरियोटिक - पौधे, जंतु
प्रश्न 3: मानव पाचन तंत्र में विभिन्न एंजाइमों की भूमिका समझाएं।
उत्तर: मानव पाचन तंत्र में प्रमुख एंजाइम और उनकी भूमिका:
  • सैलिवरी एमाइलेज: मुंह में स्टार्च को माल्टोस में बदलता है
  • पेप्सिन: आमाशय में प्रोटीन को पेप्टोन में विभाजित करता है (pH 1.5-2.0)
  • ट्रिप्सिन: अग्न्याशय से स्रावित, प्रोटीन का पाचन करता है
  • लाइपेज: वसा को फैटी एसिड और ग्लिसरॉल में तोड़ता है
  • एंटेरोकाइनेज: ट्रिप्सिनोजेन को सक्रिय ट्रिप्सिन में बदलता है
ये एंजाइम भोजन को सरल अणुओं में तोड़कर अवशोषण योग्य बनाते हैं।
प्रश्न 4: मानव श्वसन प्रणाली में गैसों के आदान-प्रदान की क्रियाविधि बताएं।
उत्तर: गैसों का आदान-प्रदान निम्न चरणों में होता है:
  • फुफ्फुसीय वेंटिलेशन: वायुकोषों में वायु का प्रवेश और निष्कासन
  • बाह्य श्वसन: वायुकोषों और रक्त के बीच गैसों का आदान-प्रदान
  • गैसों का परिवहन: रक्त द्वारा ऑक्सीजन और CO₂ का परिवहन
  • आंतरिक श्वसन: ऊतकों और रक्त के बीच गैसों का आदान-प्रदान
O₂ का 98% हीमोग्लोबिन के साथ और CO₂ का 70% बाइकार्बोनेट के रूप में परिवहन होता है।
प्रश्न 5: हृदय की संरचना और कार्यप्रणाली का विस्तृत वर्णन करें।
उत्तर: मानव हृदय चार कक्षीय है:
संरचना:
  • दाएं आलिंद: शरीर से अशुद्ध रक्त प्राप्त करता है
  • दाएं निलय: फेफड़ों में रक्त भेजता है
  • बाएं आलिंद: फेफड़ों से शुद्ध रक्त प्राप्त करता है
  • बाएं निलय: शरीर में रक्त पंप करता है
कार्यप्रणाली: हृदय गति 72 बीट/मिनट, स्ट्रोक वॉल्यूम 70 mL, कार्डियक आउटपुट 5 L/मिनट होता है।
प्रश्न 6: रक्त के घटकों और उनके कार्यों का वर्णन करें।
उत्तर: रक्त के मुख्य घटक:
  • प्लाज्मा (55%): 90% पानी, परिवहन और pH नियंत्रण
  • लाल रक्त कोशिकाएं (40-45%): हीमोग्लोबिन युक्त, ऑक्सीजन परिवहन
  • सफेद रक्त कोशिकाएं (1%): प्रतिरक्षा प्रणाली का हिस्सा
  • प्लेटलेट्स (1%): रक्त स्कंदन में सहायक
सामान्य मान: RBC - 4.5-5.0 मिलियन/μL, WBC - 4,000-11,000/μL, प्लेटलेट्स - 1.5-4.0 लाख/μL
प्रश्न 7: ABO रक्त समूह प्रणाली और Rh फैक्टर की व्याख्या करें।
उत्तर: ABO रक्त समूह प्रणाली:
  • A समूह: A एंटीजन, Anti-B एंटीबॉडी
  • B समूह: B एंटीजन, Anti-A एंटीबॉडी
  • AB समूह: A और B दोनों एंटीजन, कोई एंटीबॉडी नहीं (सर्वग्राही)
  • O समूह: कोई एंटीजन नहीं, दोनों एंटीबॉडी (सर्वदाता)
Rh फैक्टर: Rh+ (D एंटीजन उपस्थित) और Rh- (D एंटीजन अनुपस्थित)। Rh असंगति गर्भावस्था में समस्या उत्पन्न कर सकती है।
प्रश्न 8: प्रतिरक्षा प्रणाली के घटकों और कार्यप्रणाली का वर्णन करें।
उत्तर: प्रतिरक्षा प्रणाली के मुख्य घटक:
जन्मजात प्रतिरक्षा:
  • त्वचा, श्लेष्मा झिल्ली (भौतिक बाधा)
  • न्यूट्रोफिल्स, मैक्रोफेजेस (कोशिकीय रक्षा)
  • कॉम्प्लीमेंट सिस्टम, साइटोकाइन्स
अर्जित प्रतिरक्षा:
  • B कोशिकाएं → एंटीबॉडी उत्पादन
  • T कोशिकाएं → सेल्युलर प्रतिरक्षा
  • मेमोरी सेल्स → द्वितीयक प्रतिक्रिया
प्रश्न 9: पोषक तत्वों की कमी से होने वाले रोगों का वर्णन करें।
उत्तर: पोषक तत्वों की कमी से होने वाले प्रमुख रोग:
  • प्रोटीन कमी: क्वाशियोरकर (बच्चों में), मरास्मस
  • विटामिन A: रात अंधापन, जेरोफथेल्मिया
  • विटामिन C: स्कर्वी (मसूड़ों से खून आना)
  • विटामिन D: रिकेट्स (बच्चों में), ऑस्टियोमलेशिया (वयस्कों में)
  • आयरन: एनीमिया (रक्तहीनता)
  • आयोडीन: गॉयटर (घेंघा), क्रेटिनिज्म
  • कैल्शियम: ऑस्टियोपोरोसिस, दांतों की समस्या
प्रश्न 10: संक्रामक और गैर-संक्रामक रोगों के बीच अंतर बताएं और उदाहरण दें।
उत्तर: संक्रामक रोग:
  • रोगजनकों (वायरस, बैक्टीरिया, फंगस) से होते हैं
  • एक व्यक्ति से दूसरे में फैलते हैं
  • उदाहरण: मलेरिया, टीबी, COVID-19, हैजा
गैर-संक्रामक रोग:
  • जीवनशैली, आनुवंशिक कारकों से होते हैं
  • संक्रामक नहीं होते
  • उदाहरण: मधुमेह, उच्च रक्तचाप, कैंसर, हृदय रोग
बचाव: संक्रामक रोगों से वैक्सीनेशन और स्वच्छता से, गैर-संक्रामक रोगों से स्वस्थ जीवनशैली से बचा जा सकता है।
8. निबंधात्मक प्रश्न
निबंध प्रश्न 1: मानव कोशिका की संरचना और विभिन्न कोशिकांगों के कार्यों का विस्तृत वर्णन करें। (300 शब्द)
उत्तर:

मानव कोशिका एक जटिल यूकैरियोटिक संरचना है जो जीवन की मूलभूत इकाई है। प्रत्येक कोशिका में विभिन्न कोशिकांग होते हैं जो विशिष्ट कार्य करते हैं।

कोशिका झिल्ली: यह कोशिका की बाहरी सीमा बनाती है और चुनिंदा पारगम्यता का गुण रखती है। यह फॉस्फोलिपिड द्विस्तर से बनी होती है और कोशिका के अंदर-बाहर पदार्थों के आवागमन को नियंत्रित करती है।

केंद्रक: यह कोशिका का नियंत्रण केंद्र है जो द्विझिल्लीय संरचना है। इसमें DNA, RNA और न्यूक्लियोलस होते हैं। केंद्रक सभी कोशिकीय गतिविधियों को नियंत्रित करता है और आनुवंशिक सूचनाओं का भंडारण करता है।

माइटोकॉन्ड्रिया: इसे कोशिका का "शक्ति गृह" कहते हैं क्योंकि यह ATP के रूप में ऊर्जा उत्पन्न करता है। इसकी अपनी DNA होती है और यह श्वसन क्रिया का स्थल है।

एंडोप्लाज्मिक रेटिकुलम: यह दो प्रकार का होता है - रफ ER (राइबोसोम युक्त) और स्मूथ ER। रफ ER प्रोटीन संश्लेषण में सहायक है जबकि स्मूथ ER लिपिड संश्लेषण करता है।

गॉल्जी बॉडी: यह प्रोटीन और लिपिड का प्रसंस्करण, पैकेजिंग और ट्रांसपोर्ट करता है। इसे कोशिका का "डाकघर" भी कहते हैं।

राइबोसोम: ये प्रोटीन संश्लेषण के स्थल हैं। ये मुक्त या ER से जुड़े हो सकते हैं।

लाइसोसोम: इन्हें "आत्महत्या की थैली" कहते हैं क्योंकि ये पाचन एंजाइम से भरे होते हैं और कोशिकीय अपशिष्ट का पाचन करते हैं।

निष्कर्ष: सभी कोशिकांग मिलकर कोशिका की जैविक क्रियाओं को संपन्न करते हैं और जीवन को बनाए रखते हैं। यह अद्भुत संगठन प्रकृति की जटिलता और सुंदरता को दर्शाता है।

निबंध प्रश्न 2: मानव पाचन तंत्र की संरचना, कार्यप्रणाली और पाचन प्रक्रिया का विस्तृत विवरण दें। (350 शब्द)
उत्तर:

मानव पाचन तंत्र एक जटिल प्रणाली है जो भोजन को सरल अणुओं में तोड़कर शरीर में अवशोषण योग्य बनाती है। यह आहार नाल और सहायक पाचन ग्रंथियों से मिलकर बना है।

संरचना: आहार नाल लगभग 9 मीटर लंबी है जो मुंह से गुदा तक फैली है। इसमें मुंह, ग्रसनी, अन्नप्रणाली, आमाशय, छोटी आंत, बड़ी आंत, मलाशय और गुदा शामिल हैं। सहायक ग्रंथियों में लार ग्रंथियां, यकृत और अग्न्याशय शामिल हैं।

पाचन प्रक्रिया: पाचन मुंह से शुरू होता है जहाँ दांत भोजन को चबाते हैं और लार में उपस्थित एमाइलेज स्टार्च को माल्टोस में बदलता है। अन्नप्रणाली क्रमाकुंचन गति से भोजन को आमाशय तक पहुंचाती है।

आमाशय में पाचन: आमाशय में हाइड्रोक्लोरिक एसिड और पेप्सिन स्रावित होते हैं। HCl भोजन को अम्लीय बनाता है और बैक्टीरिया को मारता है, जबकि पेप्सिन प्रोटीन को पेप्टोन में तोड़ता है। आमाशय भोजन को 3-4 घंटे तक संग्रहीत रखता है।

छोटी आंत में पाचन: यहाँ मुख्य पाचन होता है। अग्न्याशयी रस में ट्रिप्सिन, काइमोट्रिप्सिन और लाइपेज होते हैं। पित्त रस वसा का इमल्सीकरण करता है। आंत्र रस में विभिन्न एंजाइम होते हैं जो अंतिम पाचन करते हैं।

अवशोषण: छोटी आंत में विली और माइक्रोविली द्वारा अवशोषण सतह बढ़ती है। ग्लूकोस, अमीनो एसिड और फैटी एसिड का अवशोषण होता है। पानी और खनिज लवणों का अवशोषण मुख्यतः बड़ी आंत में होता है।

हार्मोनल नियंत्रण: गैस्ट्रिन, सेक्रेटिन और CCK हार्मोन पाचन को नियंत्रित करते हैं। ये विभिन्न एंजाइमों के स्राव को प्रभावित करते हैं।

निष्कर्ष: पाचन तंत्र की यह जटिल प्रक्रिया शरीर को आवश्यक पोषक तत्व प्रदान करती है और जीवन को बनाए रखने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाती है।

निबंध प्रश्न 3: मानव रक्त संचार प्रणाली के घटक, कार्यप्रणाली और स्वास्थ्य पर इसके प्रभाव का विश्लेषण करें। (300 शब्द)
उत्तर:

मानव रक्त संचार प्रणाली एक बंद परिसंचरण तंत्र है जो शरीर के सभी अंगों तक ऑक्सीजन, पोषक तत्व और हार्मोन पहुंचाने का कार्य करती है।

मुख्य घटक: इस प्रणाली में हृदय (चार कक्षीय पंप), रक्त नलिकाएं (धमनी, शिरा, केशिका) और रक्त शामिल हैं। हृदय प्रति मिनट 72 बार धड़कता है और लगभग 5 लीटर रक्त पंप करता है।

परिसंचरण पथ: रक्त संचार दो मुख्य चक्रों में होता है। सिस्टमिक परिसंचरण में बाएं निलय से ऑक्सीजनयुक्त रक्त महाधमनी के माध्यम से शरीर के अंगों तक जाता है और शिराओं द्वारा दाएं आलिंद में वापस आता है। पल्मोनरी परिसंचरण में दाएं निलय से विऑक्सीजनेटेड रक्त फेफड़ों में जाता है और शुद्ध होकर बाएं आलिंद में लौटता है।

रक्त की संरचना: रक्त में 55% प्लाज्मा और 45% कोशिकीय घटक होते हैं। लाल रक्त कोशिकाएं ऑक्सीजन परिवहन करती हैं, सफेद रक्त कोशिकाएं संक्रमण से बचाव करती हैं, और प्लेटलेट्स रक्त स्कंदन में सहायक होती हैं।

नियंत्रण तंत्र: स्वायत्त तंत्रिका तंत्र और हार्मोन हृदय गति और रक्तचाप को नियंत्रित करते हैं। एड्रेनालिन हृदय गति बढ़ाता है जबकि एसिटिलकोलिन इसे कम करता है।

स्वास्थ्य पर प्रभाव: स्वस्थ रक्त संचार से सभी अंगों को पर्याप्त ऑक्सीजन और पोषक तत्व मिलते हैं। हृदय रोग, उच्च रक्तचाप या एनीमिया जैसी समस्याएं पूरे शरीर को प्रभावित करती हैं।

निष्कर्ष: रक्त संचार प्रणाली जीवन का आधार है। नियमित व्यायाम, संतुलित आहार और तनाव प्रबंधन से इसे स्वस्थ रखा जा सकता है।

परीक्षा की दृष्टि से महत्वपूर्ण तथ्य:

  • मानव शरीर में 206 हड्डियां और 600+ मांसपेशियां हैं
  • दिल प्रति दिन लगभग 1,00,000 बार धड़कता है
  • फेफड़ों में 30 करोड़ वायुकोष होते हैं
  • छोटी आंत में 4-5 मिलियन विली होती हैं
  • मानव DNA में 3 बिलियन बेस पेयर हैं
  • शरीर में कुल 11 अंग प्रणालियां हैं

सामान्य विज्ञान – जीव विज्ञान (Basics)

Cell Structure, Digestion, Respiration, Circulation, Health

Quick Facts

  • कोशिका: जीवन की मूल इकाई; दो प्रकार – पादप कोशिका, जंतु कोशिका।
  • पाचन तंत्र: भोजन को सरल रूप में बदलना; प्रमुख अंग – मुख, ग्रसनी, आमाशय, छोटी आँत।
  • श्वसन तंत्र: ऑक्सीजन ग्रहण और कार्बन डाइऑक्साइड निष्कासन; फेफड़े प्रमुख अंग।
  • रक्त संचार तंत्र: हृदय, रक्त और रक्त वाहिकाओं से बना; हृदय में 4 कक्ष।
  • स्वास्थ्य: संतुलित आहार, व्यायाम, टीकाकरण से रोगों की रोकथाम।
  • सामान्य रोग: संक्रामक (मलेरिया, टाइफाइड), असंक्रामक (मधुमेह, उच्च रक्तचाप)।

PYQ-Style MCQs

  1. जीवन की मूल इकाई क्या है?
    Answer: कोशिका

    सभी जीवधारियों की संरचना और कार्य की मूल इकाई।

  2. मानव पाचन में अधिकांश पोषक तत्व कहाँ अवशोषित होते हैं?
    Answer: छोटी आँत

    विशेषकर इलियम भाग में।

  3. मानव में श्वसन का मुख्य अंग कौन सा है?
    Answer: फेफड़े

    ऑक्सीजन ग्रहण और कार्बन डाइऑक्साइड निष्कासन।

  4. हृदय में कुल कितने कक्ष होते हैं?
    Answer: चार

    दो आलिंद (Atria) और दो निलय (Ventricles)।

  5. मलेरिया किसके कारण होता है?
    Answer: प्लाज्मोडियम परजीवी

    एनोफिलीज मच्छर के काटने से फैलता है।

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